2 मिनट पहले
- कॉपी लिंक
ट्रम्प नॉर्थ कोरिया का दौरा करने वाले पहले अमेरिकी राष्ट्रपति हैं।
नॉर्थ कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन चाहते हैं कि अमेरिका में डोनाल्ड ट्रम्प ही राष्ट्रपति बनें। क्यूबा में नॉर्थ कोरिया के डिप्लोमैट रह चुके री इल क्यू ने BBC को इसकी जानकारी दी। री इल ने कहा कि नॉर्थ कोरिया अब भी यही मानता है कि ट्रम्प के कार्यकाल में अमेरिका से न्यूक्लियर वेपन प्रोग्राम के लिए समझौता करना ज्यादा आसान होगा।
दरअसल, पिछले महीने रिपब्लिकन पार्टी के कन्वेंशन में अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने कहा था, “मुझे लगता है कि किम जोंग मुझे मिस कर रहे होंगे। वे भी यही चाहते हैं कि मैं राष्ट्रपति बनूं।” नॉर्थ कोरिया के पूर्व डिप्लोमैट री इल के मुताबिक, किम जोंग ट्रम्प के साथ इसी गर्मजोशी का इस्तेमाल करके अमेरिका के साथ समझौता करने की कोशिश करेंगे।
जानलेवा हमले के बाद ट्रम्प अपनी पार्टी के कन्वेंशन में कान पर पट्टी बांधकर पहुंचे थे।
‘अमेरिका धोखेबाज देश, वादे पूरे नहीं करता’
ट्रम्प के बयान पर नॉर्थ कोरिया की स्टेट न्यूज एजेंसी KCNA ने लिखा था कि अमेरिका एक धोखेबाज देश है जो कभी अपने वादे पूरे नहीं करता। इसके बाद नॉर्थ कोरिया ने ट्रम्प के बयान पर आधिकारिक प्रतिक्रिया भी दी थी।
प्योंगयांग ने कहा था कि किसी भी पार्टी के जीतने से अमेरिका की नीतियों पर कोई असर नहीं पड़ता है। इसलिए अमेरिका में राष्ट्रपति कौन बनता है इससे नॉर्थ कोरिया को कोई फर्क नहीं पड़ता।
‘पाबंदियां हटाने के लिए अमेरिका से झूठा वादा करेगा नॉर्थ कोरिया’
BBC से बात करते हुए री इल ने कहा, “नॉर्थ कोरिया कभी भी अपने परमाणु हथियारों को खत्म नहीं करेगा। वह अमेरिका से प्रतिबंध हटाने के बदले अपने न्यूक्लियर वेपन प्रोग्राम को बंद करने की डील कर सकता है। लेकिन यह समझौता एक धोखा होगा। नॉर्थ कोरिया सिर्फ प्रतिबंध हटवाने के लिए अमेरिका से यह वादा करेगा।”
अमेरिका से एक समझौते के बाद नॉर्थ कोरिया ने साल 2012 में परमाणु हथियारों से जुड़े प्रोग्राम को सस्पेंड कर दिया था। बदले में अमेरिका ने नॉर्थ कोरिया को खाने की सप्लाई करने का वादा किया था। हालांकि, इसके कुछ समय बाद ही नॉर्थ कोरिया ने एक मिलिट्री परेड में रॉकेट लॉन्चर और इंटरकॉन्टिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइलों की प्रदर्शनी दिखाई। इसके बाद दोनों देशों के बीच समझौता रद्द हो गया।
तस्वीर 30 जून 2019 की है, जब ट्रम्प साउथ कोरिया से सीमा पारकर नॉर्थ कोरिया में दाखिल हुए थे।
किम जोंग को लिटिल रॉकेट मैन कहते थे ट्रम्प
ट्रम्प ने बतौर राष्ट्रपति अपने पहले कार्यकाल के दौरान किम जोंग का नाम ‘लिटिल रॉकेट मैन’ रखा था। 2018 में जब अमेरिका के तत्कालीन विदेश मंत्री माइक पॉम्पियो नॉर्थ कोरिया के दौरे पर गए थे तो ट्रम्प ने बिटिश सिंगर एल्टन जॉन के गाने ‘रॉकेट मैन’ की एक सीडी किम के लिए तोहफे में भेजी थी। पॉम्पियो के इस दौरे का मकसद नॉर्थ कोरिया को परमाणु हथियार बनाने से रोकना था।
इसी साल किम जोंग ने अपनी न्यूक्लियर टेस्ट फ्लाइट को तबाह कर दिया था। इसे देखने के लिए कई विदेशी पत्रकारों को भी बुलाया गया था। 2018 में सिंगापुर में एक समिट के दौरान अमेरिका और नॉर्थ कोरिया में नया समझौता हुआ। इसके तहत दोनों देशों के रिश्तों को बेहतर करने और कोरियाई पेनिनसुला को परमाणु हथियारों से मुक्त कराने पर सहमति बनी।
सहमति के बावजूद नहीं हुआ परमाणु समझौता
समझौते की शर्तों को लेकर 2019 में दोनों देशों में एक बार फिर से विवाद हो गया। इसके बाद किम जोंग ने ट्रम्प को खत लिखकर नॉर्थ कोरिया आने का न्योता दिया था। 30 जून 2019 को ट्रम्प पहले नॉर्थ कोरिया जाने वाले पहले अमेरिकी राष्ट्रपति बन थे। हालांकि, दोनों देशों के बीच परमाणु समझौता नहीं हो पाया।
6 अक्तूबर 2019 को किम जोंग ने परमाणु हथियारों पर अमेरिका के साथ सभी चर्चाओं को खत्म कर दिया। नॉर्थ कोरिया के विदेश मंत्रालय ने कहा था कि जब तक अमेरिका प्योंगयांग पर लगी पाबंदियां हटा नहीं देता, तब तक दोनों देशों के बीच कोई बातचीत नहीं होगी।
Disclaimer:* The following news is sourced directly from our news feed, and we do not exert control over its content. We cannot be held responsible for the accuracy or validity of any information presented in this news article.
Source link