5 मिनट पहले
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ट्रम्प पर हमले के बाद CNN की रिपोर्ट में दावा किया गया था कि पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति को मारने के लिए ईरान में साजिश रची जा रही थी।
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने गुरुवार को ईरान को तबाह करने की बात कही है। अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्रुथ सोशल पर एक पोस्ट के जरिए ट्रम्प ने कहा, “अगर ईरान कभी भी मेरी हत्या करने में कामयाब होता है तो मुझे उम्मीद है कि अमेरिका उसे खत्म कर देगा। उसे दुनिया के नक्शे से मिटा दिया जाएगा।”
ट्रम्प ने कहा कि अगर ऐसा नहीं किया गया तो अमेरिकी लीडर्स को डरपोक माना जाएगा। दरअसल 13 जुलाई को ट्रम्प पर जानलेवा हमले के बाद CNN की रिपोर्ट में दावा किया गया था कि पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति को मारने के लिए ईरान में साजिश रची जा रही थी।
तस्वीरें 13 जुलाई की हैं, जब एक रैली के दौरान पेन्सिलवेनिया में ट्रम्प पर हमला हुआ था।
दावा- ईरान से रची जा रही ट्रम्प को मारने की साजिश
हमले की जांच में सामने आया था कि अमेरिकी अधिकारियों को कई हफ्ते पहले इसकी जानकारी भी मिली थी। हालांकि, ट्रम्प पर जो हमला हुआ उसका ईरान से कोई कनेक्शन है या नहीं इसकी जानकारी अब तक सामने नहीं आई है।
इसके बाद 25 जुलाई को इजराइली PM नेतन्याहू ने भी अमेरिकी संसद में भाषण के दौरान इसका जिक्र किया था। ट्रम्प ने गुरुवार को अपने पोस्ट में नेतन्याहू के उसी बयान का वीडियो क्लिप भी लगाया।
दरअसल, 13 जुलाई को पेन्सिल्वेनिया के बटलर शहर में एक रैली को संबोधित करते वक्त ट्रम्प पर हमला हुआ था। इस दौरान एक गोली ट्रम्प के कान को छूते हुए निकल गई थी। हमलावर की पहचान 20 साल के युवक थॉमस क्रूक्स के तौर पर हुई थी। उसने AR-15 राइफल से 8 गोलियां चलाई थीं। फायरिंग के तुरंत बाद सीक्रेट सर्विस के अफसरों ने हमलावर को मार गिराया था।
ईरानी जनरल कासिम सुलेमानी विदेश में ईरानी मिशन को अंजाम देते थे। बगदाद में अमेरिकी एयरस्ट्राइक में सुलेमानी की मौत हो गई थी।
सुलेमानी की मौत का बदला लेने की धमकी दे चुका ईरान
इससे पहले ईरान ने पिछले साल भी पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प को मारने की धमकी दी थी। ईरान के रिवॉल्यूश्नरी गार्ड एयरोस्पेस फोर्स के हेड अमीराली हाजीजादेह ने कहा था कि ईश्वर ने चाहा तो हम ट्रम्प को जरूर मारेंगे। हम उन सभी मिलिट्री कमांडर को मारना चाहते हैं, जो ईरानी सैन्य कमांडर कासिम सुलेमानी की हत्या में शामिल थे।
दरअसल, 3 जनवरी 2020 को तब के अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के आदेश पर उनकी सेना और CIA ने मिलकर ईरानी विशेष सेना के प्रमुख जनरल कासिम सुलेमानी को मार दिया था। जनरल कासिम इराक और सीरिया में आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट के खिलाफ लड़ने के लिए चर्चित थे।
2019 में जब अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने ईरान को परमाणु संधि तोड़ने के लिए तबाही की धमकी दी थी, तो जनरल कासिम ने कहा था कि ट्रम्प ने युद्ध शुरू किया, तो खत्म हम करेंगे। सुलेमानी की मौत के बाद ईरान ने भी बगदाद में अमेरिकी दूतावास पर 7-8 जनवरी 2020 को हमले किए थे। उसने अमेरिकी सैन्य बेसों पर 22 मिसाइलें दागी थीं। ईरान ने दावा किया था कि इस हमले में अमेरिका के 80 सैनिक मारे गए थे।
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