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7 अक्टूबर 2023 को शुरू हुई इजराइल-हमास जंग अब भी जारी है।
अमेरिका ने इजराइल-हमास जंग में सीजफायर को लेकर एक प्रस्ताव तैयार किया है। इसे संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) भेजा है। विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने इसकी जानकारी दी।
अमेरिका वही देश है जो गाजा में फौरन सीजफायर किए जाने वाला 3 प्रस्तावों को खारिज कर चुका है। पहली बार नवंबर 2023 में माल्टा ने प्रस्ताव पेश किया था। दूसरी बार UAE ने दिसंबर 2023 में और तीसरी बार फरवरी 2024 में नॉर्थ ऑफ्रीकी देश अल्जीरिया ने प्रस्ताव पेश किया था। तीनों बार अमेरिका ने वीटो का इस्तेमाल करते हुए प्रस्तावों को खारिज कर दिया था।
7 अक्टूबर 2023 को शुरू हुई इजराइल-हमास जंग में अब तक 32 हजार से ज्यादा फिलिस्तीनियों की मौत हो चुकी है। इसमें 13 हजार से ज्यादा बच्चे हैं।
गाजा में 74 हजार से ज्यादा लोग घायल हुए हैं। करीब 8 हजार लोग लापता हैं।
ब्लिंकन बोले- हमारे प्रस्ताव में बंधकों की रिहाई पर फोकस
अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन इजराइल-हमास जंग के सिलसिले में मीडिल-ईस्ट देशों का दौरा कर रहे हैं। फिलहाल वो सऊदी अरब में हैं। यहां सऊदी अल-हदथ चैनल को दिए इंटरव्यू में उन्होंने कहा- हमने एक प्रस्ताव तैयार किया है। इसे UNSC भेजा है। इसमें बंधकों की रिहाई को ध्यान में रखते हुए तत्काल युद्धविराम की मांग की गई है। हमें पूरी उम्मीद है कि बाकी देश इसका समर्थन करेंगे।
दरअसल, अब तक अमेरिका ने इसलिए प्रस्ताव खारिज किए हैं क्योंकि उनमें सिर्फ सीजफायर की बात है। बंधकों की रिहाई का जिक्र नहीं है। अमेरिका कहता आया है- फौरन सीजफायर से बंधकों की रिहाई खतरे में पड़ जाएगी। बंधकों को रिहा करने के लिए हमास के साथ समझौते की जरूरत है। बिना शर्त युद्धविराम की मांग करना स्थायी शांति नहीं लाएगा। ये जंग को बढ़ सकता है। इसलिए हम वीटो लगाते हैं।
इजराइल-हमास जंग शुरू होने के बाद से ब्लिंकन 6वीं बार मिडिल-ईस्ट के देशों का दौरा कर रहे हैं।
वीटो क्या है…
UNSC में पांच स्थायी मेंबर हैं। इनमें अमेरिका, रूस, ब्रिटेन, फ्रांस और चीन शामिल हैं। इन्हें ही वीटो पावर मिला हुआ है। यह काफी अहम होता है। सुरक्षा परिषद बिना इन पांचों देशों की रजामंदी के कोई भी प्रस्ताव पारित या लागू नहीं कर सकती है। 5 में से कोई एक सदस्य भी इसका वीटो करता है तो यह प्रस्ताव खारिज हो जाता है।
234 लोगों को बंधक बनाकर ले गए थे हमास आतंकी
7 अक्टूबर 2023 को इजराइल पर हुए हमलों में हमास आतंकी करीब 234 लोगों को बंधक बनाकर गाजा ले गए थे। 24 नवंबर से 30 नवंबर तक सीजफायर हुआ था। हमास और इजराइली सेना ने 7 दिनों के लिए हमले रोके थे। तब 107 बंधकों को रिहा किया गया था।
इधर, ब्लिंकन ने इंटरव्यू में कहा- हमास को अच्छा प्रस्ताव दिया गया था, लेकिन उन्होंने इसे फौरन स्वीकार नहीं किया। अगर हमास को गाजा के लोगों की परवाह है तो वह समझौता जरूर करेगा।
बंधकों की रिहाई को लेकर इजराइल में प्रदर्शन हो रहे हैं।
‘अल-अक्सा फ्लड’ के खिलाफ इजराइल का ऑपरेशन ‘सोर्ड्स ऑफ आयरन’
हमास ने 7 अक्टूबर 2023 को इजराइल पर हमला किया था। इसे ‘अल-अक्सा फ्लड’ ऑपरेशन नाम दिया। इसके जवाब में इजराइल की सेना ने हमास के खिलाफ ‘सोर्ड्स ऑफ आयरन’ ऑपरेशन शुरू किया।
हमास के सैन्य कमांडर मोहम्मद दीफ ने कहा था- ये हमला यरुशलम में अल-अक्सा मस्जिद को इजराइल की तरफ से अपवित्र करने का बदला है। दरअसल, इजराइली पुलिस ने अप्रैल 2023 में अल-अक्सा मस्जिद में ग्रेनेड फेंके थे।
वहीं, हमास के प्रवक्ता गाजी हामद ने अल जजीरा से कहा था- ये कार्रवाई उन अरब देशों को हमारा जवाब है, जो इजराइल के साथ करीबी बढ़ा रहे हैं। हाल ही के दिनों में मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि अमेरिका की पहल पर सऊदी अरब इजराइल को देश के तौर पर मान्यता दे सकता है।
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